दूध वाली चाय है जहर के सामान, ज्यादा पीते हैं तो भुगतने होंगे ये गंभीर परिणाम

चाय हमारे देश में सबसे लोकप्रिय पेय पदार्थ है. चाय ज्यादातर लोगों के रोजमर्रा की जिंदगी का एक अहम हिस्सा है. यहां दूध और चीनी से बनी चाय का चलन आम है लेकिन ये ज्यादा हानिकारक होता है. स्वास्थ्य कारणों से ही अमेरिका, इंग्लैंड जैसे विकसित देशों में लोग चाय में दूध नहीं मिलाते और चीनी भी आंशिक रूप से उपयोग करते हैं.
अक्सर ये देखा जाता है कि चाय पीने की आदत तलब में बदल जाती है. अगर आपके चाय पीने की आदत, तलब में तब्दील हो चुकि है तो इससे कई गंभीर बीमारी भी हो सकती है. दरअसल खाली पेट चाय पीने से और लंबे समय तक रोज कई कप चाय के पीने से स्केलेटल फ्लोरोसिस जैसी बीमारी हो सकती है यह बीमारी हड्डियों को अंदर ही अंदर खोखला बना देती है. ये तलब कभी-कभी गंभीर बीमारी का कारण भी बन सकती है.

दूध और चीनी से बनी चाय है हानिकारक
चाय से हड्डियों को नुकसान अचानक नहीं बल्कि लंबे समय बाद नजर आता है. दूध और चीनी से बनी चाय का लगातार पीते रहने से इसका बुरा प्रभाव शरीर पर पड़ता है. खासकर जब आप खाली पेट हों और इसे भूख मिटाने के लिए पी रहें हों. दूध और चीनी से बनी चाय की अधिकतम मात्रा से अल्सर और हाइपर एसिडिटी का कारण भी बनता है. लेकिन ग्रीन-टी, लेमन टी कुछ मायनों में फायदेमंद भी होता है.
बीमारी का प्रभाव
स्केलेटल फ्लोरोसिस से आर्थराइटिस जैसा दर्द होने लगता है. इस बीमारी से कमर, हाथ-पैरों के साथ-साथ जोड़ों में दर्द की शिकायत होती है. चाय में पाया जाने वाला फ्लोराइड मिनरल हड्डियों के लिए खतरनाक होता है, फ्लोराइड की अधिक मात्रा से हड्डियों में स्केलेटल फ्लोरोसिस होने की संभावना बढ़ जाती है. इसके अलावा चाय, हड्डियों को कैल्शियम ग्रहण करने में रोकता है. चाय की अधिकतम मात्रा से अल्सर और हाइपर एसिडिटी का कारण भी बनता है.
First published: 27 December 2018, 18:11 IST