132वीं जयंती पर देश के प्रथम राष्ट्रपति डॉ राजेन्द्र प्रसाद को दी गई श्रद्धांजलि

देश के प्रथम राष्ट्रपति डॉ राजेन्द्र प्रसाद की आज 132वीं जयंती है. पूरे देश में उनकी जयंती मनाई जा रही. इस अवसर पर आज पटना स्थित उनके स्मृति स्थल राजेंद्र घाट पर राज्यपाल ने श्रद्धांजलि दी. आज ही के दिन सन 1884 में सीवान के जीरादेई में उनका जन्म हुआ था.
राजेन्द्र प्रसाद साल 1931 के नमक सत्याग्रह और 1942 के ‘भारत छोड़ो आंदोलन’ के दौरान जेल भी गए. आजादी से पहले 2 दिसंबर 1946 को वह अंतरिम सरकार में खाद्य एवं कृषि मंत्री बने.
आजादी के बाद 26 जनवरी 1950 को भारत को गणतंत्र राष्ट्र का दर्जा मिलने के साथ ही राजेंद्र प्रसाद को देश का प्रथम राष्ट्रपति बनने का गौरव हासिल हुआ. वर्ष 1957 में वह दोबारा राष्ट्रपति चुने गए.
वर्ष 1962 में राजेंद्र बाबू को भारत के सर्वोच्च नागरिक सम्मान ‘भारत रत्न’ से नवाजा गया. 28 फरवरी, 1963 को बीमारी के चलते यह महान नेता सदा के लिए इस संसार से विदा हो गया.
राजेन्द्र प्रसाद ने अपनी आत्मकथा (1946) के अलावा कई पुस्तकें भी लिखी. इनमें बापू के कदमों में (1954), इण्डिया डिवाइडेड (1946), सत्याग्रह ऐट चम्पारण (1922), गांधी जी की देन, भारतीय संस्कृति व खादी का अर्थशास्त्र उल्लेखनीय हैं.
पीएम मोदी ने देश के पहले राष्ट्रपति डॉक्टर राजेंद्र प्रसाद को श्रद्धांजलि देते हुए ट्वीट किया, "मैं डॉक्टर राजेंद्र प्रसाद को उनकी जयंती पर नमन करता हूं. हमारे देश को उनके प्रेरणादायक नेतृत्व से बहुत कुछ सीखने की जरूरत है."
First published: 3 December 2016, 1:35 ISTI bow to Dr. Rajendra Prasad on his birth anniversary. Our nation owes a lot to him for his inspiring leadership at a crucial time.
— Narendra Modi (@narendramodi) December 3, 2016