जम्मू-कश्मीर: अब्दुल्ला और मुफ्ती पर PSA लगाकर डाला जेल में, चिदंबरम बोले- मोदी सरकार की क्रूर कार्रवाई

PSA on Abdullah and Mufti: जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 के कुछ अनुबंधों को समाप्त किए जाने के साथ ही वहां के दिग्गज नेता नजरबंद हैं. वहीं अब सरकार ने जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती और उमर अब्दुल्ला समेत 6 नेताओं पर पब्लिक सेफ्टी एक्ट यानि PSA लगा दिया है. इसके बाद से यह मामला बढ़ता जा रहा है.
जम्मू-कश्मीर के नेताओं पर PSA लगाने का विपक्षी पार्टियां विरोध कर रही हैं और इसे मोदी सरकार का क्रूर कदम बता रही हैं. कांग्रेस के सीनियर नेता पी चिदंबरम ने उमर अब्दुल्ला और महबूबा मुफ्ती समेत 6 नेताओं पर पीएसए लगाने को लेकर नाराजगी जताई. उन्होंने कहा कि वह मोदी सरकार की इस क्रूर कार्रवाई से हैरान हैं.
Adhir Ranjan Chowdhury, Congress: Prime Minister spoke against Omar Abdullah & Mehbooba Mufti in Parliament yesterday & they were charged with Public Safety Act (PSA) at night. You cannot govern Kashmir like this. Physically Kashmir is with us but not emotionally. pic.twitter.com/GF2pnqxIjP
— ANI (@ANI) February 7, 2020
चिदंबरम ने कहा कि बिना किसी आरोप के किसी पर कार्रवाई करना लोकतंत्र का सबसे घटिया कदम है. उन्होंने कहा कि जब अन्यायपूर्ण कानून पारित किए जाते हैं अथवा अन्यायपूर्ण कानून लागू किए जाते हैं, तो लोगों के पास विरोध करने के अलावा क्या विकल्प बचता है? इसके अलावा लोकसभा में कांग्रेस संसदीय दल के नेता अधीर रंजन चौधरी ने कहा कि सरकार इस तरह से कश्मीर पर शासन नहीं कर सकती.
अधीर रंंजन चौधरी ने लोकसभा में मोदी सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि भले ही भौगोलिक रूप से कश्मीर हमारे साथ है, लेकिन भावनात्मक रूप से हमारे साथ नहीं है. आगे उन्होंने कहा कि कल ही लोकसभा में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने उमर अब्दुल्ला और महबूबा मुफ्ती के खिलाफ बात की और रात में उन पर पीएसए भी लगा दिया.
हालांकि सरकार का कहना है कि जिन 6 नेताओं पर PSA लगाया गया है, उन लोगों ने उनके नियमों और शर्तों को मानने से इनकार कर दिया था. सरकार ने एक बॉन्ड सिग्नेचर कराकर कई नेताओं को रिहा किया है. लेकिन फारूक अब्दुल्ला, उमर अब्दुल्ला, महबूबा मुफ्ती समेत 6 नेताओं ने बॉन्ड पर सिग्नेचर करने से इनकार कर दिया. इसके बाद उन पर PSA लगाया गया. इस बॉन्ड में अनुच्छेद 370 हटाए जाने के खिलाफ प्रदर्शन न करने की गारंटी थी.
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First published: 7 February 2020, 13:10 IST