DGP के शर्मनाक बोल- निर्भया की मां की फिजिक देखकर समझ सकता हूं वो कितनी सुंदर होगी

कर्नाटक की राजधानी बेंगलुरू में एक कार्यक्रम आयोजित किया गया. जो कि महिलाओं को सम्मानित करने के लिए आयोजित किया गया था. इस कार्यक्रम में पूर्व डीजीपी एचटी सांगलियान और आईपीएस डी रूपा भी मजूद थी. महिलाओं को सम्मानित करने के लिए किया गया.
ये कार्यक्रम पूर्व डीजीपी के बयान से खटास में पद गया. एक ओर महिलाओं को सम्मानित किया जा रहा था वहीं दूसरी ओर कर्नाटक के पूर्व डीजीपी एचटी सांगलियान ने दिल्ली गैंगरेप की शिकार निर्भया की मां को लेकर एक विवादित बयान दिया.
बैंगलोर मिरर की रिपोर्ट के मुताबिक पूर्व डीजीपी एचटी सांगलियान ने निर्भया की मां आशा देवी के बारे में कहा कि उनका ‘फिजीक’ (काया) बहुत ही सुंदर है और वह ‘सिर्फ अंदाजा लगा सकते हैं कि निर्भया कितनी सुंदर रही होगी.’
Met Nirbhaya's mother today. She spoke how the society stigmatises rape victims rather than stigmatising the culprits. It's for citizens to play active role in checking crimes against women. Ex MP, retd IPS Sangliana was present I received "Nirbhaya Award" on the occasion. pic.twitter.com/ifjeaBpnf1
— D Roopa IPS (@D_Roopa_IPS) March 9, 2018
गौरतलब है कि 2012 में दिल्ली में निर्भया के साथ रेप की वारदात को अंजाम दिया था. अपनी बेटी को इंसाफ दिलाने के लिए निर्भया की मां ने लंबी कानूनी लड़ाई लड़ी. कार्यक्रम में पूर्व डीजीपी एचटी सांगलियान ने कहा, “मैं निर्भया की मां को देख पा रहा हूं, उनके पास कितनी अच्छी फिजीक है, मैं सिर्फ अंदाजा लगा सकता हूं कि निर्भया कितनी सुंदर रही होगी.”
पूर्व डीजीपी के इस बयान को सुनकर कार्यक्रम में मौजूद कई महिलाएं अवाक रह गयीं. इस कार्यक्रम में बैंगलोर की जानी-मानी आईपीएस डी रूपा भी मौजूद थीं. इस कार्यक्रम से जुड़ी तस्वीरें आईपीएस डी रूपा ने अपने ट्विटर अकाउंट पर शेयर किया है. कार्यक्रम में मौजूद एक्टिविस्ट अनिता चेरिया ने कहा कि वह डीजीपी के बयान को सुनकर हैरान रह गईं. वह कार्यक्रम को छोड़कर जाना चाह रहीं थीं, लेकिन निर्भया के माता-पिता का आदर करते हुए उन्होंने ऐसा नहीं किया.
हालांकि पूर्व पुलिस ऑफिसर के बयान पर उन्होंने आपत्ति जताई. उन्होंने कहा, “जब पुलिस के टॉप अधिकारी, जो ऊंचा ओहदा रखते हैं, ऐसा बोलना जायज समझते हैं, किसी महिला की शारीरिक काया पर टिप्पणी ठीक समझते हैं, तो हमें बतौर एक समाज लोगों की मानसिकता को बदलने के लिए लंबी दूरी तय करनी होगी.”
इतना ही नहीं सांगलियान महिलाओं की सुरक्षा पर टिप्स देते हुए भी अजीब बात कह गए, “यदि आपको किसी ने काबू में कर लिया है, तो आपको सरेंडर कर देना चाहिए, बाद में आप केस फॉलो करें, इस तरह से हम सुरक्षित रह सकते हैं, जिंदगी बचाइए और मरने से बचिए.”
ये तो वाकई सोचने की बात है की कैसे एक ओर महिला कल्याण और महिला उत्थान की बातें और कार्यक्रम आयोजित जिए जाते हैं. और उन्ही कार्यक्रमों में मौजूद ये बड़े बड़े अधिकारी इस तरह की बयानबाजी करते हैं. जिसमे महिला अस्मिता की बात कहीं दूर दूर तक नहीं आती है. आयोजनों से इतर मानसिकता बदलने के लिए अभी भी लम्बी लड़ाई लड़ना बाकी है.
First published: 16 March 2018, 10:37 IST