पापा की गई नौकरी, 'मोदी है तो मुुमकिन है' नारा सुन बच्चे ने PM मोदी को लिख डाली 37 चिट्ठी, लेकिन..

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के वादे से प्रभावित होकर 8वीं क्लास के एक बच्चे ने अपने पिता की माली हालत पर 37 पत्र लिखे. हालांकि पीएम मोदी या पीएमओ की तरफ से इसका कोई जवाब नहीं आया है. सार्थक त्रिपाठी नामक बच्चे ने ये लेटर लिखे हैं.
उत्तर प्रदेश के रहने वाले सार्थक ने इन चिट्ठियों में पीएम मोदी से अपने पिता की नौकरी वापस दिलाने की गुहार लगाई है. सार्थक ने अपने लेटर में लिखा है कि मैंने पीएम मोदी का स्लोगन 'मोदी है तो मुमकिन है' सुना है. सार्थक ने उम्मीद जताई कि पीएम मोदी हैं तो सब कुछ हो सकता है.
सार्थक के लिखा कि उनके पिता उत्तर प्रदेश स्टॉक एक्सेंज (UPSE) में जॉब करते थे. लेकिन उनकी नौकरी चली गई है. चिट्ठियों में सार्थक ने लिखा कि उनके पिता की नौकरी जाने के बाद उसका परिवार काफी परेशानियों से गुज़र रहा है. सार्थक ने लिखा, "पीएम मोदी जी से निवेदन है कि वो मेरे पापा की नौकरी वापस दिलवा दें."
सार्थक ने यह भी लिखा कि उसके पापा को बिना किसी वजह यूपीएसई की नौकरी से निकाल दिया गया. सार्थक 13 साल के हैं और वह साल 2016 से पीएम मोदी को चिट्ठी लिख रहे हैं. लेकिन उन्हें आज तक कोई जवाब नहीं आया है. सार्थक ने लिखा कि उनके पापा को नौकरी से निकलवाने वाले लोगों के खिलाफ कार्रवाई की जाए और उनके पापा को इंसाफ मिले.
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