स्वर्ण मंदिर में 'शहीदों' की गैलरी में भिंडरावाले की लगेगी तस्वीर

पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह द्वारा पहले आपत्ति जताए जाने के बावजूद अमृतसर के हरमंदिर साहिब परिसर में गुरुवार को शहीदों की गैलरी बनाने के लिए कार सेवा (स्वैच्छिक सेवा) शुरू की गई. सिख पाठशाला दमदमी टकसाल ने सिख भक्तों की स्वैच्छिक सेवा स्वर्ण मंदिर में शुरू की. इसमें अकाल तख्त के जत्थेदार गुरुबचन सिंह और शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी (एजीपीसी) के अध्यक्ष किरपाल सिंह बदुंगर भी मौजूद थे.
इस प्रस्तावित गैलरी में सिख उग्रवादी नेता जरनैल सिंह भिंडरावाले और दूसरे उग्रवादियों की तस्वीरें रखी जाएंगी, जो अलग सिख राज्य खालिस्तान की मांग को लेकर हिंसक संघर्ष में 1980 और 1990 के शुरुआत में मारे गए. साथ ही साथ इसमें सेना द्वारा अमृतसर के स्वर्ण मंदिर में जून 1984 में हुए ऑपरेशन ब्लूस्टार की तस्वीरें भी रखी जाएंगी.
मुख्यमंत्री ने दमदमी टकसाल के प्रमुख हरनाम सिंह धुम्मा से धार्मिक परिसर के अंदर ऑपरेशन ब्लूस्टार मेमोरियल की गैलरी नहीं स्थापित करने का आग्रह किया. मुख्यमंत्री ने कहा कि यह पंजाब की शांति भंग करेगा. हालांकि, दमदमी टकसाल ने अपील की उपेक्षा की और एसजीपीसी ने इसके गैलरी परियोजना को जून में मंजूरी दे दी. एजीपीसी पंजाब के स्वर्ण मंदिर और अन्य दूसरे सिख गुरुद्वारों का प्रबंधन देखती है.
मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह ने कहा कि पंजाब में शांति भंग करने के लिए शिरोमणि अकाली दल गैलरी परियोजना को समर्थन दे रहा है. एजीपीसी पर शिरोमणि अकाली दल का नियंत्रण है. पंजाब में दस साल के बाद कांग्रेस ने अकाली दल को शिकस्त देते हुए सत्ता संभाली है.