शिवपाल की नई पार्टी समाजवादी सेकुलर मोर्चा, मुलायम होंगे अध्यक्ष

समाजवादी पार्टी के नेता और मुलायम सिंह यादव के छोटे भाई शिवपाल सिंह यादव ने अपनी नई पार्टी के नाम का एलान कर दिया है. समाचार एजेंसी एएनआई से बातचीत में शिवपाल ने कहा कि समाजवादी सेकुलर मोर्चा के नाम से नई पार्टी बनाने जा रहे हैं, जिसके अध्यक्ष मुलायम सिंह यादव होंगे.
लंबे अरसे से अपने भतीजे और सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव से शिवपाल यादव के संबंध सामान्य नहीं चल रहे हैं. यूपी विधानसभा चुनाव के लिए टिकट बंटवारे को लेकर विवाद की शुरुआत हुई थी. मामला चुनाव आयोग तक पहुंचा, जहां अखिलेश खेमे को असली समाजवादी पार्टी मानते हुए आयोग ने उनका साइकिल सिंबल बहाल रखा.
'नेताजी को सम्मान दिलाने की लड़ाई'
शिवपाल ने साथ ही नई पार्टी के गठन को लेकर कहा, "नेताजी को उनका सम्मान वापस दिलाने और समाजवादियों को एक साथ लाने के लिए इस मोर्चे का जल्द ही एलान होगा."
इससे पहले शिवपाल ने जसवंतनगर विधानसभा सीट से अपने प्रचार के दौरान कहा था कि 11 मार्च को यूपी चुनाव के नतीजे आने के बाद वे नई पार्टी बनाएंगे. हालांकि बाद में वे अपनी बात से पलट गए थे. मुलायम सिंह ने भी कहा था कि शिवपाल ने ऐसा गुस्से मेें कहा होगा.
Neta ji ko unka sammaan vapas dilane, aur Samajawadion ko ek saath laane ke liye is morche ka jald hi ailaan hoga:Shivpal Yadav to ANI
— ANI UP (@ANINewsUP) May 5, 2017

ऐसे शुरू हुआ विवाद
समाजवादी पार्टी में पिछले साल सबसे पहले विवाद उस वक्त शुरू हुआ जब कौमी एकता दल के समाजवादी पार्टी में विलय को अखिलेश यादव ने मंजूरी नहीं दी. उस वक्त अखिलेश सपा के प्रदेश अध्यक्ष थे, जबकि मुलायम सिंह यादव पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष थे.
ये विवाद टिकट बंटवारे के बाद और सतह पर आ गया, जब 325 उम्मीदवारों की लिस्ट में अखिलेश के करीबियों जैसे पवन पांडे और अरविंद सिंह गोप का पत्ता काट दिया गया. इसके बाद अखिलेश ने अपनी लिस्ट जारी कर दी. मुलायम ने बाद में अनुशासनात्मक कार्रवाई करते हुए अखिलेश और रामगोपाल यादव को सपा से निकाल दिया, लेकिन 24 घंटे के अंदर फैसला रद्द कर दिया.
इसके बाद रामगोपाल यादव ने एक जनवरी 2017 को लखनऊ के जनेश्वर मिश्र पार्क में सपा के आपातकालीन अधिवेशन में चार बड़े एलान किए. इसके जरिए अमर सिंह की सपा से और शिवपाल यादव की प्रदेश अध्यक्ष पद से बर्खास्तगी के अलावा अखिलेश यादव को सपा का राष्ट्रीय अध्यक्ष और मुलायम सिंह को सपा का संरक्षक बनाया गया.
हालांकि बाद में शिवपाल को अखिलेश ने जसवंतनगर सीट से टिकट तो दे दिया, लेकिन दोनों के बीच संबंध सुधर नहीं सके. मतदान के दिन भी शिवपाल ने आरोप लगाया कि प्रशासन ने ऊपरी इशारे के बाद उनके समर्थकों पर लाठीचार्ज किया. 19 फरवरी को मतदान के दौरान जसवंतनगर में उनके काफिले पर पथराव की घटना भी सामने आई.
